
बेमेतरा : छत्तीसगढ़ के बेमेतरा जिले के ग्राम पिरदा स्थित स्पेशल ब्लास्ट लिमिटेड कंपनी में ब्लास्ट के बाद मलबे में दबे मजदूरों की संख्या और लापता मजदूरों के बारे में बड़ा अपडेट सामने आया है। पुलिस अधीक्षक ने सात लोगों के लापता होने की पुष्टि की है।
वहीं नेशनल डिजास्टर रिस्पांस फोर्स की टीम ने मोर्चा संभाल लिया है। सेना की टीम ने भी मौके पर जाकर कैंप कर रहे जिला प्रशासन की टीम के लिए सहायता का हाथ बढ़ाया है। जमींदोज हो चुकी कारखाने की दो मंजिला यूनिट का मलबा हटाने का काम जारी है। मलबे में किसी के जीवित होने की संभावना न के बराबर है।
जिनके परिजन सारी रात घटनास्थल पर बैठे रहे। फारेंसिंक टीम ने नमूने इकट्ठे किए। जिला पुलिस अधीक्षक ने विस्फोट के बाद से सात लोगों के लापता होने की पुष्टि की है। कारखाने के परिसर में ही अस्थाई पुलिस कैंप भी तैयार किया गया है। अब तक विस्फोट में एक व्यक्ति की मौत हुई है। छह लोग घायल हैं।
दूसरे दिन घटनास्थल पर गांव के लोग धरने पर बैठ गए। घटनास्थल पर पहुंचे बेमेतरा विधायक दीपेश साहू को ग्रामीणों के विरोध का सामना करना पड़ा। ग्रामीणों ने विधायक पर नेतागिरी करने का आरोप लगाते हुए घटनास्थल पर जाने का विरोध किया। विधायक दीपेश साहू ने ग्रामीणों को समझाने की कोशिश की, लेकिन ग्रामीण नहीं माने। ग्रामीणों के विरोध के बाद विधायक वापस धरना स्थल पर लौट आए।
इससे पहले शनिवार को दिनभर चले रेस्क्यू आपरेशन के बाद एक भी मजदूर को जीवित या मृत अवस्था में बरामद नहीं किया जा सका। दिन में फैक्ट्री के बाहर दिनभर लोगों की भीड़ थी। लिहाजा अब रात में लोगों की भीड़ हटने के बाद जेसीबी बुलवाकर मलबे को हटाने का काम शुरू किया गया है। जो मजदूर लापता हैं, उन्हें लोग मृत ही मान रहे हैं, लेकिन शव न मिलने की स्थिति में प्रशासन उसकी पुष्टि नहीं कर रहा है। घटना स्थल के आसपास जिस तरह से मांस के लोथड़े बिखरे पड़े थे।