राज्य में शुरू होंगे एक हजार क्षेत्रीय परिवहन सुविधा केन्द्र

रायपुर शहर में खुलेंगे 40 केन्द्र, 12 स्थानों में केन्द्र शुरू, लोगों को मिल रही ड्राइविंग लाइसेंस सहित विभिन्न सुविधाएं

रायपुर| छत्तीसगढ़ देश का पहला राज्य है, जहां आसानी से लोगों को ड्राइविंग लाइसेंस एवं अन्य सुविधाएं उपलब्ध कराने के लिए क्षेत्रीय परिवहन सुविधा केन्द्र शुरू किए जा रहे हैं। राज्य में एक हजार क्षेत्रीय परिवहन सुविधा केंद्र खोलने की योजना है। इस पर काम शुरू कर दिया गया है। अकेले रायपुर में 40 केंद्र खुल रहे हैं। करीब एक दर्जन जगहों पर इसकी शुरूआत भी हो चुकी है, जहां लोगों को परिवहन संबंधी विभिन्न सुविधाएं मिल रही हैं।
परिवहन विभाग के अंतर्गत शुरू किए जा रहे क्षेत्रीय परिवहन सुविधा केन्द्रों से छत्तीसगढ़ के लोगों को ड्राइविंग लाइसेंस बनवाने या अन्य परिवहन सम्बंधित काम के लिए अब आरटीओ कार्यालय के चक्कर काटने की जरूरत नहीं होगी। इन केंद्रों के खुलने से लोगों को न केवल एजेंटो से छुटकारा मिलेगा, बल्कि घर के नजदीक ही परिवहन से संबंधित तमाम कार्य भी पूरे हो जाएंगे।

क्या है परिवहन सुविधा केंद्र :- क्षेत्रीय परिवहन सुविधा केंद्र के संचालक विजय मिश्रा बताते हैं कि, ’लाइसेंस के लिए लोगों को बहुत ज्यादा भटकना पड़ता था, लेकिन सरकार ने अलग-अलग इलाकों के लिए परिवहन सुविधा केंद्र खोल दिया है। पहले लोगों को लाइसेंस के लिए करीब 15 किमी दूर आरटीओ दफ्तर जाना होता था, जहां सुबह से शाम तक लाइन में खड़े रहते थे। जिसकी वजह से बहुत से लोग एजेंडों के चंगुल में फंस जाते थे। लेकिन क्षेत्रीय परिवहन सुविधा केंद्र के खुलने से लोगों को लाइसेंस एवं अन्य परिवहन संबंधी सुविधाओं का लाभ आसानी से मिल रहा है। वर्तमान में इन केन्द्रों में लर्निंग लाइसेंस तैयार करने का काम हो रहा है। इसके अलावा नाम ट्रांसफर के लिए रसीद भी काटी जाती है। भविष्य में अन्य सेवाएं भी यहां जल्द उपलब्ध होंगी।

आसानी से बन रहे लर्निंग लाइसेंस :- रायपुर के न्यू राजेन्द्र नगर निवासी बलदेव बिसरा बताते हैं, ‘‘मेरा लाइसेंस नहीं बना था। लाइसेंस बनवाने के लिए मुझे बहुत ज्यादा भटकना पड़ा, बावजूद इसके मेरा लाइसेंस नहीं बन पाया था। घर के नजदीक परिवहन सुविधा केंद्र खुलने की जानकारी मिली। यहां आकर मैनें आवेदन दिया। मेरा लर्निंग जल्द ही बनकर तैयार हो गया। पहले कई बार लाइसेंस बनवाने के लिए भनपुरी स्थित आरटीओ दफ्तर जाना पड़ा। लाइसेंस के लिए बहुत ज्यादा भटकना पड़ा। इस बीच दो से तीन बार चालान भी कट गया. घर के नजदीक केंद्र खुलने से बहुत अच्छी सुविधा मिल रही है’’।

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